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News Most One Post – प्रमुख समाचार पढ़ो एक बार : 12/05/2024

 News Most One Post – प्रमुख समाचार पढ़ो एक बार : 12/05/2024

प्रमुख समाचार पढ़ो एक बार में दिन भर के प्रमुख समाचार को समाहित किया जाता है अर्थात एक पोस्ट में ही दिन भर के प्रमुख समाचारों का अवलोकन करना सरल हो जाता है। कई समाचार ऐसे भी होते हैं जिनकी कड़ियाँ एक-दूसरे से जुड़ी होती है जिसे समझना यहां सरल हो जाता है।

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POK – “हम POK वापस लेंगे” : अमित शाह 

ये पोक करना बंद करो लेना है तो ले लो, किसने रोक रखा है ? गृहमंत्री अमित शाह ने कौशांबी के एक चुनावी सभा में कांग्रेस पर हमला किया और कहा कि पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (POK) भारत का हिस्सा है और हम इसे वापस लेंगे। 

कौन लेने का विरोध कर रहा है, अरे मंत्री जी वो पाकिस्तान के पास परमाणु बम की बात करने वालों ने तो आपको सतर्क किया था कि पाकिस्तान ऐसा भी कर सकता है और आप हैं कि लेकर उड़ गये उन्हें पाकिस्तान का पक्षधर सिद्ध करना चाहते हैं। उनसे गलती बस इतनी हुयी कि ये चर्चा गुप्त रूप से करनी चाहिये थी, सार्वजनिक रूप से कर बैठे। “गलती हुई तो हुई”, आप तिल का ताड़ बनाने लग गये। 

वैसे POK में बड़े स्तर पर जनविद्रोह आरम्भ हो चुका है, पाकिस्तान के राष्ट्रपति ने आपात बैठक तक बुलाई है। POK के लोग खुले रूप से भारत में सम्मिलित होने की बात कर रहे हैं, पुलिस और सेना दबाने का प्रयास कर रही है लेकिन मामला उग्र होता जा रहा है। भारत पूरे कश्मीर में शांति चाहता है और विश्व से आशा करता है कि वहां शांति स्थापित करने में सकारात्मक योगदान करेगा। 

चुनाव नहीं वाक्युद्ध होगा, मतदाता प्रबुद्ध होगा – लोकसभा चुनाव 2024 

कुछ पूर्व न्यायाधीश व पत्रकारों ने लोकसभा चुनाव 2024 में प्रधानमंत्री मोदी और राहुल गाँधी को पत्र लिखकर सार्वजनिक बहस करने का आग्रह किया था जिस पर राहुल गांधी ने प्रतिक्रिया दिया था कि हमें या हमारे अध्यक्ष खडगे जी को बहस करके प्रसन्नता होगी। लेकिन मांग करने वाले और राहुल गांधी दोनों इस बात को भूल गये कि कोई भी युद्ध समान स्तर वालों में होता है – ये तो ठीक ऐसा है जैसे “कहाँ राजा भोज कहाँ गंगू तेली” 

और ये बात याद दिलाई भाजपा नेत्री और केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी ने और बताया कि जिस व्यक्ति को भाजपा के एक सामान्य कार्यकर्त्ता के विरुद्ध चुनाव लड़ने का साहस न हो उसे शेखी नहीं बघारनी चाहिये और पूछा कि प्रधानमंत्री के साथ बहस करना चाहते हैं तो मैं उनसे पूछना चाहती हूँ कि क्या वो इंडी गठबंधन के प्रधानमंत्री प्रत्याशी हैं ?

प्रधानमंत्री मोदी का पटना में रोड शो 

आज संध्या प्रधानमंत्री मोदी का पटना में रोड शो हुआ। बिहार के मुख्यमंत्री नितीश कुमार भी प्रधानमंत्री के रोड शो में सम्मिलित हुये। लोगों की अधिक भीड़ के कारण रोड शो के एक किलोमीटर बढ़ाने की भी बात सुनी गयी। 

#WATCH प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बिहार के पटना में रोड शो किया।

बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार भी इस दौरान मौजूद रहे। #LokSabhaElections2024 pic.twitter.com/ynWmH2iTjc

— ANI_HindiNews (@AHindinews) May 12, 2024

शंखनाद करने वाले तेजप्रताप यादव ने मौन तोड़ा 

पूर्व आलेख में शंखनाद करने वाले तेजप्रताप की चर्चा की गयी थी जिसका प्रभाव ये हुआ कि मात्र कुछ ही घंटों बाद तेजप्रताप को अपनी गरिमा और महिमा की याद आयी और मीडिया को भी इस विषय पर ध्यान गया कि आखिर तेजप्रताप की अनदेखी कैसे की जा सकती है। 

चुनाव का तीन चरण बीत चूका है और कल चौथा चरण होने वाला है। अंततः तेजप्रताप पटना में मोदी के रोड-शो पर अपना मौन व्रत तोड़ते हुये कहा कि बिहार लालू यादव और इंडिया गठबंधन का है, PM मोदी समाज को लड़वाने के लिये आ रहे हैं, वे देश को दो हिस्सों में बांटना चाहते हैं। लेकिन उनके आने से कुछ होने वाला नहीं है। 

तेजप्रताप जी का ये वक्तव्य विशेष महत्वपूर्ण है कि चाहे मोदी ही क्यों न हो देश का टुकड़ा नहीं होगा, जो पीछे हो गया सो हो गया। संभवतः तेजप्रताप को ये भी लोगों ने बताया होगा कि 1947 में देश के टुकड़े किस कारण हुये थे, टुकड़े करने वाले कौन थे, कौन सी मानसिकता थी। तेजप्रताप आगे बढ़ो देश तुम्हारे साथ है। 

वहीं लालू यादव ने भी एक ट्वीट करके बिहारियों का मान बढ़ाया : “बिहारी बुरबक नहीं है” 

झारखंड के मंत्री आलमगीर आलम को ED का समन 

ED और अन्य केंद्रीय जाँच संस्थाओं को कम से कम निष्पक्ष चुनाव तो होने देना चाहिये। देश में लोकसभा चुनाव 2024 चल रहा है सभी नेताओं को चुनाव लड़ना है और ED-CBI यदि इस तरह से विपक्षी नेताओं को समन देकर परेशान करती रहेगी तो निष्पक्ष चुनाव कैसे होगा ? करती ED-CBI-NIA है और भुगतना पड़ता है मोदी को, इन संस्थाओं के कारण मोदी तानाशाह के आरोपी बन गए हैं। जहां देखो, जिसे देखो मोदी को तानाशाह कह रहा है।

नेताओं का चुनाव लड़ना अधिकार होता है और चुनाव के समय नेताओं को सभी कानून से छूट मिलनी चाहिये। उसमें भी जो मंत्री हों या पूर्व मंत्री हों उन्हें विशेष छूट मिलनी चाहिये आखिर दशकों से जो  “लूट की छूट” नेताओं की परम्परा बन गयी हो उसे कैसे समाप्त किया जा सकता है ? नेताओं को ये कानूनी अधिकार होना चाहिये की भले ही वो कुछ भी करें चुनाव के समय उनके विरुद्ध कोई कानूनी कार्रवाई नहीं की जाये। 

अस्तु 6 मई को झारखंड के मंत्री आलमगीर आलम के निजी सचिव संजीव लाल के घरेलू नौकर जहांगीर आलम के यहां ED ने छापामारी करके 37 करोड़ से अधिक नकदी प्राप्त करते हुये दोनों को बंदी भी बना लिया था। ED वहीं नहीं रूकी छापेमारी और बढ़ती गयी और अब बात यहां तक आ गयी की चुनाव चल रहा है इस बात का विचार किये बिना मंत्री आलमगीर आलम को भी ED ने समन भेजा है। उन्हें 14 मई को रांची के जोनल ED कार्यालय में उपस्थित होने के लिये कहा गया है। 

अब प्रश्न ये उठता है कि मंत्री साहब चुनाव लड़ें या ED के प्रश्नों का उत्तर देते फिरें। ये चुनाव के समान अधिकार का उल्लंघन है। कांग्रेस को ये विषय सर्वोच्च न्यायालय तक लेकर जाना चाहिये। अभी दो दिन पहले की ही बात है केजरीवाल ने ED के दांत खट्टे किये हैं, और मात्र दो दिन में ही ED भूल भी गयी। ये लोकतंत्र के लिये अच्छा नहीं है। लोकतंत्र को बचाये रखने ये आवश्यक है कि नेता कितना भी बड़ा अपराधी क्यों न हो उसे किसी भी प्रकार की कानूनी कार्रवाई से छूट मिलनी चाहिये। 

नोट : इस विषय को मात्र व्यंग्य की तरह ग्रहण किया जाय।  

मुंगेरी लाल के हसीन सपने 

भले ही राहुल गांधी सपने की दुनियां में न जी रहों, लेकिन जब से केजरीवाल चुनावी अंतरिम बंधन सुरक्षा पाकर कारागार से बाहर आये हैं “मुंगेरीलाल के हसीन सपने” (प्रधानमंत्री बनने) देख रहे हैं। ये बात उन्हें भी पता है कि मोदी के सामने कितने बौने हैं लेकिन “सपने तो सपने हैं” कहीं से कोई रोक नहीं लगा सकता। 

लेकिन सपने देखने के लिये भी उन्हें मोदी के गारंटी का ही सहारा लेना पर रहा है, ये ठीक उस तरह है जैसे किसी आलेख को लिखने के लिये कीवर्ड को चुना जाता है। सबसे अधिक जमानत जप्त कराने वाली पार्टी है आम आदमी पार्टी और यदि दिल्ली पंजाब से बाहर जाकर चुनाव लड़े तो अभी फिर वही दिन देखने पड़ेंगे लेकिन सपने देखने की बात हो तो वो बात ही अलग होती है। 

और किसी गारंटी की बात करें न करें दो गारंटी को समझना तो आवश्यक है :

  1. शानदार और फ्री इलाज : जिनके मंत्रियों को और स्वयं केजरीवाल भी अपना इलाज दिल्ली से बाहर कराने जाते हैं, ऐसी इलाज व्यवस्था को शानदार बता रहे हैं। जहां तक फ्री की बात है तो इस पर चर्चा करने की कोई बात ही नहीं है, पहले से पूरे देश की गरीब जनता को आयुष्मान कार्ड मिला हुआ है। 
  2. भ्रष्टाचार से मुक्ति : ये तो हंसने वाली बात है और कितने निर्लज्ज हैं यह भी समझने के लिये पर्याप्त है कि जिनके अधिकतर मंत्री भ्रष्टाचार के मामले में ही कारागार वासी बने हुये हैं और स्वयं भी सर्वोच्च न्यायालय की कृपा से 21 दिनों तक चुनाव प्रचार करने के लिये बाहर आये हैं वो भ्रष्टाचार मुक्ति की गारंटी दे रहे हैं। 

वैसे इस विषय में प्रश्न उठने पर कि क्या वो प्रधानमंत्री पद के प्रत्याशी हैं केजरीवाल ने स्वयं स्वीकार किया है कि वो प्रधानमंत्री पद के प्रत्याशी नहीं हैं। 

HBSE 10th Result : हरियाणा बोर्ड दशवीं का परीक्षा परिणाम प्रकाशित 

हरियाणा विद्यालय शिक्षा बोर्ड ने दसवीं कक्षा का परिणाम घोषित कर दिया है। इस वर्ष दसवीं की परीक्षा में कुल 327139 परीक्षार्थी सम्मिलित हुये थे, जिनमें से कुल 95.22 प्रतिशत परीक्षार्थी परीक्षा में उत्तीर्ण हुये हैं। HBSE 10th Result देखने की आधिकारिक वेबसाइट है : bseh.org.in 


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